‘‘‘कौन जाएगा ये तो बाद में पता चल जाएगा: राज्यपाल’’’
लखनऊ। (आवाज न्यूज ब्यूरो) यूपी की राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने विधानमंडल के बजट सत्र के पहले दिन दोनों सदनों के संयुक्त सत्र में विपक्ष के हंगामे और शोर शराबे के बीच अभिभाषण पढ़ा। विपक्षी सदस्यों ने जातीय जनगणना की मांग करते हुए सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।
राज्यपाल आनंदी बेन पटेल में पहुंचने से पहले ही सपा और रालोद के सदस्य विरोध स्वरूप सदन में खड़े हो गए। राज्यपाल ने जैसी ही अभिभाषण पढ़ना शुरू किया तो सपा आर रालोद के विधायक हाथों में बैनर और तख्तियां लेकर वेल में आ गए। विपक्षी दलों के सदस्यों ने राज्यपाल गो बैक, गो बैक के नारे लगाए। योगी तेरी जमाने में जनता लूट रही थाने में, मरीज दम तोड़ अस्पतालों में सरकार भाग रही सवालों से, बिजली महंगी मीटर हाई झूठे निकले भाजपाई, सामाजिक न्याय का नारा है पीडीए के साथ देश सारा है जैसे नारे लगाते रहे। सदस्यों ने बैनर के पीचे लगे काले कपड़े भी लहराकर राज्यपाल को दिखाए। राज्यपाल ने भी विपक्ष की नारेबाजी और शोर शराबे के बीच ही पूरी शिदद्त के साथ अभिभाषण पढ़ा।
विधानसभा में नारेबाजी कर रहे समाजवादी पार्टी के विधायकों को राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने तल्ख़ अंदाज में आईना दिखाया। राज्यपाल गो बैक गो बैक नारेबाजी कर रहे सपा विधायकों को राज्यपाल ने कहा कि कौन चला जाएगा यह तो बाद में पता चलेगा। राज्यपाल ने कहा कि 7 वर्ष पहले उत्तर प्रदेश बीमारु राज्य हुआ करता था। सात वर्ष की सरकार के शासन में यूपी केंद्र सरकार की 47 योजनाओं में देश में पहले स्थान पर हैं। उन्होंने सपा विधायकों से कहा कि आप लोग यहां नारेबाजी करते रह गए ये ( भाजपा सरकार ) लोग आपसे ऊपर निकल गए।
विधानसभा की कार्य संचालन नियमावली 2023 लागू होने के बाद दूसरे ही सत्र में नियमावली का जमकर उल्लंघन हुआ। सपा के सदस्यों ने वेल में आकर प्रदर्शन किया। बैनर और तख्तियां लेकर सदन में पहुंचे। वहीं अधिकारी दीर्घा में बैठे शासन व पुलिस के आला अधिकारी अभिभाषण के दौरान मोबाइल फोन पर बात करते रहे। उल्लेखनीय है कि नियमावली के अनुसार सदन में बैनर तख्ती लेकर प्रवेश वर्जित है। मोबाइल का उपयोग भी प्रतिबंधित है।
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