लखनऊ।(आवाज न्यूज ब्यूरो) केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत आवंटित होने वाले गेहूं के कोटे को कम कर दिया है। इससे उप्र में इस योजना के तहत बांटा जा रहा गेहूं वितरित नहीं होगा। इसके बदले कार्ड धारकों को चावल का वितरण किया जाएगा। प्रदेश में यह व्यवस्था जून माह से लागू करने की पूरी तैयारी की जा रही है।
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत निःशुल्क राशन का वितरण किया जा रहा है। इसमें प्रत्येक पात्र गृहस्थी कार्ड धारक को प्रति यूनिट तीन किलो गेहूं तथा दो किलो चावल मुफ्त में दिया जाता है। उप्र में 15 करोड़ से ज्यादा लोगों को मुफ्त में यह राशन मिल रहा है। अब केंद्र सरकार ने इस योजना में शामिल विभिन्न राज्यों का गेहूं का कोटा बेहद कम या बंद करने का फैसला लिया है जिसमें यूपी भी शामिल है। इसके बदले चावल का कोटा बढ़ाने की बात कही जा रही है। माना जा रहा है कि इस बार देश में गेहूं का उत्पादन कम हुआ है। साथ ही केंद्र सरकार गेहूं का निर्यात करने की भी तैयारी कर रही है। चूंकि इस समय वैश्विक स्तर पर गेहूं की मांग एवं दाम दोनों ही बेहतर चल रहे हैं। ऐसे में यूपी में तैयारी यह है कि जून माह से गेहूं के बदले कार्ड धारकों को चावल ही दिया जाएगा। अपर आयुक्त खाद्य सुरक्षा अनिल दुबे कहते हैं कि केंद्र सरकार की ओर से इस तरह का प्रस्ताव है जिस पर अभी अंतिम निर्णय होना बाकी है। हालांकि अगले माह से गेहूं की बजाय चावल वितरण की पूरी तैयारी है।
इस समय कार्डधारकों को माह में दो बार मुफ्त में राशन वितरण किया जा रहा है। पहला केंद्र सरकार की प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना में तो दूसरी बार प्रदेश सरकार द्वारा नियमित राशन वितरण के जरिए। उधर भले ही केंद्र सरकार की योजना में गेहूं का कोटा कम या बंद हो जाए पर प्रदेश सरकार की योजना में गेहूं का वितरण जारी रहेगा। इसमें भी प्रति यूनिट तीन किलो गेहूं तथा दो किलो चावल का वितरण होता है।
