नई दिल्ली।(आवाज न्यूज ब्यूरो) कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मानहानि केस में गुजरात हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। गुजरात हाईकोर्ट से राहुल को राहत की उम्मीद है। सूरत की सीजेएम कोर्ट ने 23 मार्च को राहुल गांधी को दोषी ठहराया था। इसी दिन उन्हें दो साल की सजा सुना दी थी। सजा के चलते राहुल गांधी की संसद सदस्यता भी रद्द हो गई।
राहुल गांधी ने सीजेएम कोर्ट के आदेश को सूरत के सत्र न्यायालय में चुनौती थी। लेकिन सेशन कोर्ट ने भी गुरुवार को उनकी याचिका खारिज कर दी थी। एडिशनल सेशन कोर्ट के जज आरपी मोगेरा की कोर्ट ने एक शब्द में फैसला सुनाते कहा कि था कि याचिका डिसमिस्ड, यानी खारिज की जाती हैं, यानी जो फैसला सीजेएम कोर्ट ने किया था। सेशन कोर्ट ने उसे बरकरार रखा है। इससे पहले जज मोगेरा ने इस मामले पर 13 अप्रैल को दोनों पक्षों की दलीलें सुनी थी और फैसला सुरक्षित रख लिया था। सेशन कोर्ट के फैसले के बाद जिसके बाद राहुल के सामने विकल्प था कि वो हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे। राहुल गांधी ने अब गुजरात हाईकोर्ट में याचिका दायर कर दी है।
यह केस 2019 में बेंगलुरु में चुनावी रैली के दौरान दिए गए राहुल के बयान से जुड़ा है। राहुल ने रैली में कहा था कि हर चोर का सरनेम मोदी क्यों होता है। इस बयान पर गुजरात के भाजपा विधायक पूर्णेश मोदी ने मानहानि का केस दाखिल किया था। इस पर कोर्ट ने 23 मार्च 2023 को फैसला सुनाया था।
इसके आधार पर अगले दिन राहुल गांधी की संसद सदस्यता रद्द कर दी गई थी। अगर जज मोगेरा राहुल की याचिका मंजूर कर लेते तो उनकी संसद सदस्यता की बहाली का रास्ता खुल जाता। अब कांग्रेस की उम्मीदें गुजरात हाईकोर्ट से टिकी हुई हैं, देखना होगा कि राहुल को हाईकोर्ट से राहत मिलती है या नहीं।
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