फाइलेरिया रुग्णता प्रबंधन पर सामुदायिक स्वास्थय अधिकारियों को दिया गया प्रशिक्षण

फर्रुखाबाद। (आवाज न्यूज ब्यूरो) राष्ट्रीय फाइलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम के तहत सोमवार को फाइलेरिया रुग्णता प्रबंधन पर सीएचसी बरौन में मोर्बिडिटी मैनेजमेंट व डिसेबिलिटी प्रिवेंशन (एमएमडीपी) के बारे में सामुदायिक स्वास्थय अधिकारियों को एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया l यह प्रशिक्षण प्रत्येक ब्लॉक में अलग अलग तिथियों में दिया जायेगा l

मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ अवनीन्द्र कुमार ने बताया कि इस प्रशिक्षण के बाद सीएचओ अपने-अपने क्षेत्र की आशा, एएनएम,व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को फाइलेरिया रोग के बारे में जानकारी देंगे। इससे यह प्रथम पंक्ति के कार्यकर्ता आम जनमानस को फाइलेरिया रोग के बारे में विस्तार से जानकारी देंगे। इस तरह लोग समय समय पर चलने अभियान के दौरान फाइलेरिया की दवा का सेवन कर सकेंगे l

प्रभारी जिला मलेरिया अधिकारी आर सी माथुर ने बताया कि फाइलेरिया एक गंभीर बीमारी है। जो क्यूलैक्स मच्छर के काटने से होती है lजब क्यूलैक्स मच्छर फाइलेरिया संक्रमित व्यक्ति को काटने के बाद किसी स्वस्थ व्यक्ति को काटता है तो उसे भी संक्रमित कर देता है। जिससे संक्रमण के लक्षण 5 से 15 साल में उभरकर सामने आते हैं। उन्होंने बताया कि फाइलेरिया के बचाव के लिए साल में एक बार और लगातार 5 साल तक दवा का सेवन जरूर करना चाहिए।
डीएमओ ने बताया कि 6 जून को सीएचसी मोहम्दाबाद, 7 जून को कायमगंज, 8 जून को नवाबगंज, 9 जून को राजेपुर 15 जून को शमसाबाद और 16 जून को सीएचसी कमालगंज में मोर्बिडिटी मैनेजमेंट व डिसेबिलिटी प्रिवेंशन (एमएमडीपी) के बारे में सामुदायिक स्वास्थय अधिकारियों को एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया जायेगा l जिस एचडब्ल्यूसी पर सीएचओ नहीं हैं वहां पर तैनात एएनएम को इस बारे में जानकारी दी जायेगी l
डीएमओ ने बताया कि अब से फाइलेरिया रोगियों को एमडीपी किट का वितरण हेल्थ एंड वेलनेस सेन्टर से सीएचओ द्वारा किया जाएगा जिससे इन लोगों को सीएचसी पर आने की ज़रूरत नहीं होगी l

पाथ संस्था से रीजनल एनडीटी ऑफिसर डॉ शिवकांत ने स्वास्थ्य कर्मियों को फाइलेरिया प्रभावित मरीजों को किस प्रकार प्रभावित अंग को धोना और सुखाने के तरीके के संदर्भ में जानकारी देते हुए बताया कि फाइलेरिया से ग्रसित रोगी रात में सोते समय जिस पैर में समस्या है उस पैर को बिस्तर के नीचे तकिया रख कर थोड़ा सा ऊपर उठा कर सोएं व उन्होंने मरीजों को नियमित व्यायाम कराने के विभिन्न चरणों के संदर्भ में भी विस्तार पूर्वक बताया।
फाइलेरिया निरीक्षक दीपांशु यादव ने बताया कि 531 मरीज लिम्फोडिमा और 482 मरीज हाइड्रोसील से ग्रसित हैं जिनमें से 116 हाइड्रोसील के मरीजों का सफल आपरेशन विभाग द्वारा कराया जा चुका है l इस तरह कुल मिलाकर 1013 फाइलेरिया रोगी जनपद में हैं l
शेष रोगियों को चिन्निहीत कर जल्द ही स्वास्थ्य लाभ दिया जायेगा l

चौसपुर हेल्थ एंड वेलनेस सेन्टर के सीएचओ जय सिंह ने बताया कि प्रशिक्षण के माध्यम से हम लोगों को जो जानकारी दी गई है उसको आशा एएनएम के द्वारा आमजन को देंगे जिससे अभियान के दौरान लोग दवा का सेवन करेगें और इस लाइलाज रोग को रोकने में मदद मिलेगी l
प्रशिक्षण कार्यक्रम में उपस्थित 27 वर्षीय राधा देवी ने बताया कि वह पिछले कुछ सालों से फाइलेरिया से ग्रसित हैं। उन्होंने बताया कि जब से मैं फाइलेरिया की दवा का सेवन कर रही हूं मुझे आराम मिला है और मेरे हाथ की सूजन भी कम हुई है। मेरी स्थिति अब स्थिर है रोग अधिक नहीं बढ़ पा रहा नियमित व्यायाम से अब मैं रोजमर्रा के काम भी कर पा रही हूं l
इस दौरान फाइलेरिया निरीक्षक अनिमेष शुक्ल, योगेश, मलेरिया निरीक्षक विकास दिवाकर एमओआईसी डॉ राणा प्रताप, बीपीएम पारुल,बीसीपीएम विनीता सहित सीएचओ और आशा कार्यकर्ता मौजूद रहीं l

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