बृजेश चतुर्वेदी
कन्नौज। (आवाज न्यूज ब्यूरो) जिले के जिस गांव में मन्दिर और मजार के मामले को दबाने की पुलिस ने हर कोशिश कर ली, गुरुवार को वह मामला यूपी सरकार के मंत्री के सामने आ गया। गांव पहुंच कर मंत्री ने प्राचीन टीले पर पहुंच कर विवादित स्थल को देखा। यहां ग्रामीणों ने राजस्व अभिलेख व अन्य साक्ष्य उनके सामने रख दिए। मंत्री ने इस पूरे प्रकरण की जांच कराने की बात कही है। कहा एएसआई से प्राचीन टीले का उत्खनन करवाया जाएगा।
मामला ठठिया थाना क्षेत्र के उमरन गांव का है। जहां प्राचीन टीले पर मन्दिर की जगह दूसरे समुदाय के लोगों ने मजार बना ली। यहां दोनों समुदाय के लोगों में झगड़ा हुआ तो पुलिस मामले को दबाने में जुट गई। पथराव के वीडियो ग्रामीणों के मोबाइल से डिलीट करवा दिए। दरअसल इस मामले की हकीकत जानने के लिए गुरुवार को यूपी सरकार के मंत्री असीम अरुण ठठिया क्षेत्र के उमरन गांव पहुंच गए।
यहां उन्होंने ग्रामीणों से विवाद का कारण पूछा तो भीड़ ने इस पूरे बवाल के लिए गांव के रहने वाले जामिल, कामिल, इबले हसन और नूर हसन का नाम बताया। ग्रामीणों ने मंत्री असीम अरुण को बताया कि 20 या 25 साल पहले उनके गांव में आकर दो-तीन मुस्लिम परिवार बस गए। उन्होंने पिछले कुछ वर्षों से पूरे गांव को परेशान कर के रखा है। मन्दिर की मूर्तियों को फेंककर उन लोगों ने उसी जगह पर मजार बना ली।
टीले के ऊपर बबूल का जंगल कटा तो वहां मन्दिर की जगह मजार बनी नजर आई। जब गांव के लोगों ने उसका विरोध किया तो दूसरे समुदाय के लोगों ने पथराव कर दिया। ग्रामीणों ने बताया कि टीले की आधी जमीन पर मुस्लिम लोग अपना दावा करने लगे हैं जबकि राजस्व अभिलेखों में ऐसा कुछ नहीं है।
गांव के रहने वाले जामिल और कामिल ने प्रधान की मदद से टीले और तालाब की जमीन पर हजारों ट्राली मिट्टी का अवैध खनन करवा कर काफी पैसा कमा लिया। ये लोग आपराधिक किस्म के हैं। कई मुकदमें होने के बावजूद पुलिस उन्हें अरेस्ट नहीं करती।
एसआई से कराया जाएगा टीले का उत्खनन
इस पूरे प्रकरण को लेकर मंत्री असीम अरुण ने कहा उरमन गांव में काफी प्राचीन टीला है। इसकी जमीन किसी अल्पसंख्यक के नाम पर कैसे हो सकती है, ये संदेहास्पद है और इसकी जांच कराई जाएगी। मिट्टी के खनन से राजस्व का नुकसान हुआ है, इसकी भी जांच होगी।
इसके अलावा पुरातत्व विभाग से टीले का उत्खनन करवाया जाएगा, ताकि यहां से मिलने वाली तमाम ऐतिहासिक वस्तुओं को संरक्षित कराया जा सके। ये विवाद की नहीं बल्कि हमारे गौरव की बात है। दोषियों पर कार्यवाही जरूर होगी।
मामला दबाने को पुलिस ने अपनाया नोटिस वाला हथकंडा
उमरन गांव में मन्दिर वाली जगह पर मजार बनाने वालों ने महिलाओं और पुरुषों पर पथराव कर दिया था। उन पर कार्यवाही से थाना पुलिस ने इनकार कर दिया। इसके बाद हिंदूवादी नेताओं ने थाने पहुंच कर हंगामा किया तो मामला सुर्खियों में आ गया।
पथराव करने वाले मुस्लिम युवकों पर कार्यवाही करने की वजाय हिंदूवादी संगठन के लोगों का शांतिभंग का चालान कर दिया। खबरों को पब्लिश होने से रोकने के लिए दबाव बनाने की नीयत से कई मीडिया कर्मियों को कन्नौज पुलिस ने नोटिस भी थमा दिए। इतने सारे जतन करने के बाद भी कन्नौज पुलिस आने मकसद में सफल नहीं हो पाई। माना जाता है कि एसपी को जिन वजहों से स्थानांतरित किया गया उनमे से एक वजह यह मामला भी रहा।